भागदौड़ भरी जिंदगी और समय की जरूरत को देखते हुए हम सभी की दिलचस्पी ऑनलाइन खरीदारी की तरफ लगातार बढ़ती जा रही है। आज के दौर में online advertising websites पर कई प्रकार के फ्री विज्ञापन देने वाली कंपनियां भी मौजूद हैं। अक्सर हम ऑनलाइन एडवरटाइजिंग प्लेटफॉर्म जैसे OLX, Cars24, Quikr के माध्यम से सस्ती चीजें खरीदने या महंगे सामान को बेचने के चक्कर में धोखे का शिकार हो जाते हैं।
निम्नलिखित तरीकों से आप भी हो सकते हैं ऐसे धोखे का शिकार :-
1. डिजिटल हेराफेरी (Digital Manipulation):
• UPI Payment Links के माध्यम से आपको गुमराह कर ठग लिया जाता है।
• किसी अन्य व्यक्ति के विज्ञापनों का उपयोग कर आपको ठगा जाता है।
उपाय:
• यदि कोई आपके विज्ञापन को देखकर पेमेंट प्राप्त करने के लिए ई-वॉलेट या यूपीआई से आपको Request Money की लिंक भेजता है तो Pay / Send Money वाले ऑप्शन पर क्लिक करने से पहले पूणतः ध्यान से पढे।
• कोई भी सौदा करने से पहले या एडवांस पैमेंट करने से पहले संबंधित विक्रेता से व्यक्तिगत मिलकर ही सौदा करें।
2. फोटो मॉर्फिंग (Photo Morphing):
एडवांस पेमेंट के नाम पर प्रोडक्ट की फोटो बदलकर आपको गुमराह किया जा सकता है, जिस प्रोडक्ट को आपने पसंद किया हो असल में वह प्रोडक्ट दिखने में वैसा न हो।
उपाय:
यदि विक्रेता आपको सामान भेजता है तो सामान की बिना जांच पड़ताल किए ऑनलाइन एडवांस में किसी भी तरह की राशि का भुगतान न करें।
3. फर्जी पहचान (Impersonation):
वह आपको आर्मी या अर्धसैनिक बल का जवान बताकर आपसे एडवांस पेमेंट ले सकता है या फिर धोखाधड़ी कर व्हाट्सअप पर आपके पर्सनल दस्तावेज़ प्राप्त कर सकता है। वह आपको अपनी ऐसी पहचान बतायेंगे जिससे आप उनपर बिना किसी शक के आप आसानी से विश्वास कर सकें।
उपाय:
व्यक्ति से सामने मिलकर ही उसका विश्वास करें न कि WhatsApp पर होने वाली बात का भरोसा करें और सामान बेचते या खरीदते समय व्हाट्सअप पर अपने पर्सनल दस्तावेज़ किसी से शेयर न करें।
यदि आप भी ऑनलाइन एडवरटाइजिंग प्लेटफॉर्म से सामान खरीदते एवं बेचते हैं तो सावधान हो जाइये, कुछ ठग ऑनलाइन एडवरटाइजिंग वेबसाइट पर झूठे एवं लुभावने विज्ञापन डालते हैं और आपको ठगने का काम करते हैं। ऑनलाइन एडवरटाइजिंग प्लेटफॉर्म पर आपके द्वारा डाले गए विज्ञापन को देखते ही इच्छुक ख़रीदार के साथ-साथ ठग भी आपसे संपर्क कर सकते हैं।
उदाहरण के तौर पर OLX, Cars24, Quikr ऐसे ऑनलाइन माध्यम हैं जिसके प्रयोग से नागरिक अपना पुराना सामान बेचने या खरीदने के लिए फ्री में विज्ञापन अपने नाम एवं मोबाइल नंबर के साथ डाल सकते हैं। जिसका ठग द्वारा गलत फायदा उठाया जाता है और विज्ञापन डालने वाले व्यक्ति से फर्जी तरीके से एडवांस पैमेंट ले सकते हैं या फिर Test Drive करने के नाम पर वाहन लेकर भाग जाते हैं।
State Cyber Police, Madhya Pradesh को ऑनलाइन एडवरटाइजिंग प्लेटफॉर्म के माध्यम से लोगों से अलग-अलग ठगी करने संबंधी कई शिकायतें प्राप्त हुई हैं, लगातार प्राप्त हो रही शिकायतों की वजह से विशेष महानिदेशक राज्य साइबर पुलिस, मध्य प्रदेश श्री पुरुषोत्तम शर्मा (IPS) नागरिकों से इस संबंध में जागरुक और सावधान रहने की अपील करते हैं।
आम लोगों को ठगी का शिकार होने से बचाना चाहते हैं तो आप भी इस संबंध में अपने सुझाव एवं विचार mp.mygov.in पर साझा कर सकते हैं। आपके द्वारा दिए गए महत्वपूर्ण सुझाव प्रदेश से क्राइम को काफी हद तक खत्म करने में सफल साबित हो सकते हैं।
सतर्क और सावधान रहिये!
Amit Devendra Ojha 6 years 2 months ago
आनलाइन ठगी से बचाव हेतु निम्न सुझाव हैं-1-एंटीवायरस साफ्टवेयर रखें।2-पासवर्ड कभी भी सेव न करें।3-ईनाम एवं पुरस्कार के झांसे मे आकर गोपनीय जानकारी नदें।पासवर्ड किसे से साझा न करें।
Amit Devendra Ojha 6 years 2 months ago
फोन मे किसी को बैंक खाता ,एटीएम पिन कोड,आधार कार्ड एवं अन्य गोपनीय जानकारी न दें।
Amit Devendra Ojha 6 years 2 months ago
किसी भी अकाउंट का पासवर्ड हमेशा स्ट्रांग रखें जिसमे कैरेक्टर के साथ स्पेशल कैरेक्टर और नम्बर्स भी शामिल करें। इसके अलावा अपने बाकी अन्य एकाउंट्स के पासवर्ड एक जैसे ना रखें। समय-समय पर पासवर्ड बदलते रहें।
Amit Devendra Ojha 6 years 2 months ago
अपना पासवर्ड किसी भी सूरत में किसी के साथ भी साझा ना करें।
ईमेल के माध्यम से आने वाले विज्ञापनों से परहेज करें। लॉटरी जैसे ईमेल को तत्काल ही डिलीट कर दें।
अपने कंप्यूटर और स्मार्टफोन को वायरस से बचाने के लिए अनजान साइटों से किसी भी तरह का कोई भी डाउनलोड ना करें।
Amit Devendra Ojha 6 years 2 months ago
इन जानकारियों के आधार पर card cloning और कार्ड बदलने सहित कई आपराधिक कारनामों को अंजाम दिया जाता है. इस तरह ठगे गए लोगों की संख्या लाखों में पहुँच चुकी है.
RBI के नियमानुसार बैंक से जुड़ा कोई भी अधिकारी उपभोक्ता का ATM Card Number, पिन कोड या ऑनलाइन बैंकिंग ID व पासवर्ड नहीं पूछ सकता है. इसलिए, इस तरह का कॉल आने की स्थिति में आपको तुरंत सतर्क हो जाना चाहिए और बैंक व पुलिस से संपर्क करना चाहिए.
Amit Devendra Ojha 6 years 2 months ago
अपराधी उपभक्ताओं को फ़ोन कॉल द्वारा भी ठग रहे हैं. आये दिन यह खबर आती रहती है कि उपभोक्ताओं को बैंक अधिकारी बनकर फ़ोन किया जाता है, बैंकिंग सम्बन्धी किसी स्थिति का हवाला देकर, डेबिट कार्ड नंबर पूछा जाता है, पासवर्ड (One Time Password– OTP भी), CVV हासिल करने की कोशिश होती है, और खाते से पैसे चुरा लिए जाते हैं.
Amit Devendra Ojha 6 years 2 months ago
भारत सरकार ने लेनदेन को सुरक्षित बनाने के उद्देश्य से BHIM App जारी किया है. यह app National Payment Corporation of India द्वारा रिसर्च कर तैयार किये गए Unified Payment Interface – UPI पर काम करता है.
Bhawna 6 years 2 months ago
फोन मे किसी को बैंक खाता ,एटीएम पिन कोड,आधार कार्ड एवं अन्य गोपनीय जानकारी न दें।
Bhawna 6 years 2 months ago
अपना पासवर्ड किसी भी सूरत में किसी के साथ भी साझा ना करें।
ईमेल के माध्यम से आने वाले विज्ञापनों से परहेज करें। लॉटरी जैसे ईमेल को तत्काल ही डिलीट कर दें।
अपने कंप्यूटर और स्मार्टफोन को वायरस से बचाने के लिए अनजान साइटों से किसी भी तरह का कोई भी डाउनलोड ना करें।
Bhawna 6 years 2 months ago
किसी भी अकाउंट का पासवर्ड हमेशा स्ट्रांग रखें जिसमे कैरेक्टर के साथ स्पेशल कैरेक्टर और नम्बर्स भी शामिल करें। इसके अलावा अपने बाकी अन्य एकाउंट्स के पासवर्ड एक जैसे ना रखें। समय-समय पर पासवर्ड बदलते रहें।