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एकल/समूह स्वर में देशभक्ति पूर्ण रचना की संगीतमयी प्रस्तुति प्रतियोगिता

Start Date: 25-07-2020
End Date: 15-08-2020

मध्‍यप्रदेश के युवाओं, विद्यार्थियों और बच्चों में स्वाधीनता ...

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मध्‍यप्रदेश के युवाओं, विद्यार्थियों और बच्चों में स्वाधीनता संग्राम के प्रति जागरूकता उत्पन्न करने के उद्देश्य से स्वराज संस्थान संचालनालय, संस्कृति विभाग म.प्र. शासन द्वारा 1947 से पूर्व की देशभक्ति पूर्ण रचना अथवा स्वयं की मौलिक रचना की एकल/समूह स्वर में संगीतमय प्रस्तुति प्रतियोगिता का आयोजन किया जा रहा है।

स्वराज संस्थान संचालनालय, संस्कृति विभाग म.प्र. शासन द्वारा चयनित विजेताओं को पुरस्कार स्वरूप क्रमशः रूपये 50,000/-, 25,000/-, 10,000/- के एक-एक तथा पाँच पुरस्कार रुपये 5000/- के प्रदान किये जावेंगे। इसके साथ प्रमाण-पत्र, स्वाधीनता संग्राम पर केन्द्रित पुस्तकें तथा देशभक्ति गीतों की ऑडियो सीडी भी प्रदान की जायेगीं।

➥प्रविष्टियाँ प्राप्त करने की अंतिम तिथि 15 अगस्त 2020, शाम 5:00 बजे तक है।

प्रतियोगिता की शर्तें-

• प्रति नागरिक द्वारा केवल एक ही प्रविष्टि स्वीकार की जाएगी।
इस प्रतियोगिता में 35 वर्ष (1 जनवरी, 2020 की स्थिति में) तक की आयु सीमा के मध्यप्रदेश के सभी निवासी भाग ले सकेंगे।
• प्रस्तुति का विडियो शेयर करने के लिए अपने वीडियो को Facebook/Youtube पर शेयर करें और उसके Link को www.mp.mygov.in पर सबमिट करें।
• पुरस्कार के लिये चयनित प्रविष्टियों के कहीं भी उपयोग का सर्वाधिकार स्‍वराज संस्‍थान संचालनालय के पास सुरक्षित रहेगा।
• श्रेष्ठ प्रविष्टि का चयन स्‍वराज संस्‍थान संचालनालय द्वारा किया जायेगा और उनका निर्णय अंतिम होगा।
• एक से अधिक सफल प्रतिभागियों की स्थिति में पुरस्कार का चयन lottery System द्वारा किया जायेगा।
• प्रतिभागी यह सुनिश्चित करें कि उनका नाम, पिता का नाम, पता, ई-मेल एवं मोबाइल नंबर जैसे विवरण शामिल हैं। अपूर्ण प्रोफाइल के साथ प्राप्त प्रविष्टियों पर विचार नहीं किया जाएगा।
• प्रतियोगिता में भाग लेने वाले सभी प्रतिभागी यह सुनिश्चित करें किः-
1. उन्होंने प्रवेश की सभी शर्तो का अनुपालन किया है।
2. उनकीं स्‍वयं की रचना मूल है।
3. रचनात्‍मक प्रस्‍तुति की भाषा केवल हिन्‍दी ही स्‍वीकार्य होगी।
4. उनकी प्रविष्टियां किसी भी तीसरे पक्ष की बौद्धिक सम्पदा अधिकारों का उल्लंघन नहीं करती हैं।

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Anil Patel 5 years 3 months ago

जो वीर देश के लिए हो गए बलिदान।
उन बीरो पर देश को है अभिंमान। ।
भारतीय सेना का अदम्य साहस ।
पड़ोसी देश नहीं करता दुस्साहस ।।
सेना की बदौलत ।
हम घर में सुरक्षित ।।

दुनिया ने भारतीय सेना का लोहा माना।
भारत के सूरवीरो को दुनिया ने पह चाना ।।
भारत माता के वीर सपूत ।
भारत माता की रक्षा के लिए दे दी कुर्बानी।।
लेखक अनिल बुद्धसेन पटेल देवास इंजिनियर 9893555703

Deepak Maithil 5 years 3 months ago

मैं केशव का पाञ्चजन्य भी गहन मौन में खोया हूँ
उन बेटों को श्रद्धांजलियाँ लिखते-लिखते रोया हूँ
जिस माथे की कुमकुम बिंदी वापस लौट नहीं पाई
चुटकी, नथ, पाजेब ले गयी कुर्बानी की अमराई
बहनों की राखियाँ जल गयी हैं बर्फीली घाटी में
वेदी के गठबंधन खोये हैं करगिल की माटी में

पर्वत पर कितने सिन्दूरी सपने दफ़न हुए होंगे
बीस बसंतों के मधुमासी जीवन हनन हुए होंगे
टूटी चूड़ी, धुला महावर, रूठा कंगन हाथों का
कोई मोल नहीं हो सकता बासन्ती जज्बातों का

krishankant patel 5 years 3 months ago

मेर रंग दे बसंती चोला
हो आज रंग दे हो मांँ ऐ रंग दे
मेर रंग दे बसंती चोला

आजादी को चली बयाहने दीवानोंं की टोलियाँँ

खून से अपने लिख देंगे हम इंकलाब की बोलियां

हम की बोलियां
हम वापस लौटेंगे लेकर आजादी का डोला
मेर रंग दे...
ये वो चोला है के जिस पे रंग न चढे़ दूजा
हमने तो बचपन से की थी इस चोले की पूजा
कल तक जो चिंगारी थी वो आज बनी है शोला
मेर रंग दे...
सपने में देखा था जिसको आज वही दिन आया
सूली के उस पार खड़ी है माँ ने हमें बुलाया
आज मोत के पलड़े मेंं जीवन को हमने तौला